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क्या ईश्वर ज़िंदा है ? अगर है तो इतनी हायतौबा क्यों ? Nastik vs astik 4 года назад


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क्या ईश्वर ज़िंदा है ? अगर है तो इतनी हायतौबा क्यों ? Nastik vs astik

आस्तिक vs नास्तिक, आस्तिक नास्तिक में कौन सही ---- किसी अनदेखे ईश्वर में यकीन ना करना कौन सा बुरा विचार है ,जो किसी अनदेखे ईश्वर में यकीन करने वालो को इतना बुरा लगता है की, धमकियां देने लग जाते हैं ? नास्तिक आस्तिक में बड़ी बहस इस बात को लेकर है ईश्वर अल्लाह गॉड है या नही ,जब तक वो साबित नही होता , तो उसका आपकी भाषा में किताबें लिखकर भेजना भी साबित नही होता ! हम ये किसी भी आधार पर तय नही सकते की कोई ईश्वर हमारी तरह ही सोचता होगा! हां इन किताबो से इतना तो जरूर सिद्ध होता है की सभी आसमानी किताबें जमीनी लोगो ने अपनी सीमति समझ से ही लिखी हैं तो फिर इन किताबो की गलतियों ,और अतार्किक बातों पर सवाल करना, ऐसा कौन सा गुनाह है जो इन्हें पूजने वालों को इतना बुरा लगता है, कि वो जान से मारने तक कि धमकियां देने लग जाते हैं! किसी भी काल खंड के लिए कही बातें ,उस समय के लिए कुछ हद तक सही होंगी , परन्तु वे बातें हर काल खंड में फिट नही हो सकती!..और जो थोड़ा बहुत सही है,जो रखने योग्य है ,उन बातों का महत्व भी तब खत्म हो जाता है ,जब उनकी बातों को ना अपनाकर लोग उन किताबो की पूजा करने लगे जाते हैं , तब किसी का विश्वाश कब अन्धविश्वाश में बदल जाता है उसे पता भी नही चलता , तो उन्हें आईना दिखाना.. ऐसा कौन सा बुरा विचार है की लोग आपे से बाहर हो जातें है ? ऐसे प्राणी खुद को आस्तिक कहतें हैं , और आईना दिखाने वालों को मुनकिर, काफिर ,और नास्तिक कहतें हैं! असल में ऐसी हरकतें करने वाले लोग ना तो ख़ुद इन किताबो पर यकीन करतें हैं ना ही किसी ईश्वर पर! वो इस गलतफहमी में भी जी रहें को वो ईश्वर के बड़े हिमायती हैं परन्तु नही....है क्योंकि कोई भी सच्चा ईश्वर - विश्वासी ,और धर्मग्रंथों को ईश्वर - रचित मानने वाला व्यक्ति, किसी को गालियां देने और स्वयं दंडित करने की सोचना पाप समझेगा! जब उसके परमपिता ने , जब उसके अल्लाह मीयां ने हम जैसों के लिए नरकों की विशाल श्रृंखला बना रखी है ,और हर पाप के लिए यातनाओं के , फासीवादियों की तरह क्रूरतम और नीचतम तरीके पहले ही गढ़ रखे हैं ... तो उनका यूं चिलमपे मचाना एकदम बेतुका है! इससे तो यही लगता है , की उनका ईश्वर बेबस है , कमजोर है डरपोक है , या फिर वो मर चुका है जो ये सोचतें है कि इन्हें ही कुछ करना होगा ? ईश्वर अल्लाह गॉड नही है , अगर कोई नास्तिक ऐसा मानता है तो इसमें आस्तिकों का भला क्या नुकसान है ? किसी नास्तिक के ईश्वर को ना मानने से भी भक्तों को तो 72 हूरें , अप्सराएं और अन्य ऐशो - आराम तो बदस्तूर मिलेंगे ही .नास्तिक के किसी निष्कर्ष से आस्तिकों को मिलने वाला शबाब , शराब और कवाव तो कम नही होगा! तो इतनी हायतौबा किस लिए ? #Nastik #astik #human_with_scinece _______ क्या महाभारत युद्ध कभी हुआ था 👇👇👇👇👇👇👇👇👇    • क्या महाभारत युद्ध कभी हुआ था ?// जान...   वैदिकों के सबसे बड़े झूठ 👇👇👇👇👇👇👇    • वैदिकों के सबसे बड़े झूठ वेदों में विज...   __________ Music credit: Youtube audio Copyright Disclaimer Under Section 107 of the Copyright Act 1976, allowance is made for "fair use" for purposes such as criticism, comment, news reporting, teaching, scholarship, and research. Fair use is a use permitted by copyright statute that might otherwise be infringing. Non-profit, educational or personal use tips the balance in favor of fair use.

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